Moral Story in Hindi
अमन नाम का एक इंसान था जो अपनी जिंदगी में बहोत खुश था | वो एक अच्छी job कर रहा था | उसका अपना घर था, अच्छी गाडी थी और उसका एक प्यार करने वाला परिवार था |
वो बहोत खुश रहता था और अपनी हर एक छोटी बड़ी ख़ुशी के लिए इश्वर का धन्यबाद करता था | वो अपनी सेहत का बहोत ध्यान रखता था और अपने परिवार का पूरा खयाल रखता था |
एक दिन उसके पड़ोस में जिमी नाम का एक इंसान रहने आया जिसने एक बड़ा घर बनाई थी और एक बड़ी सी कार में बैठ कर वहां रहने आया था |
जब अमन ने वो गाडी देखि तो, उसमें वो गाडी खरीदने की इच्छा जागी | पर उस वक़्त उसकी आमदनी उतनी अच्छी नहीं थी की वो गाड़ी खरीद सके | इसीलिए वो फैसला किया की वो पूरी मेहनत करेगा और एक साल के अन्दर वो गाड़ी खरीद लेगा |
अमन दिन रात मेहनत करने लगा | पर इस बिच वो अपनी सेहत का ध्यान रखना भूल गया और अपने परिवार को भी समय नहीं देता था |बस वो पैसे कमाने में लगा रहा | एक साल पूरा होते ही वो वही गाड़ी खरीद लिया |
मगर हुआ क्या जानतें हैं ! जीमी तभी उससे भी बड़ी और महंगी गाड़ी खरीद कर ले आया | तब अमन बहोत निराश हुआ और फिर से मेहनत करने लगा जिमी जैसी बड़ी गाड़ी खरीदने के लिए |
इस दौरान वो अपने परिवार के प्रति बहोत लापरवाह होने लगा जिससे उसके परिवार में तनाव बढ़ने लगा | साथ ही साथ अमन की सेहत भी खराफ होने लगी | पर अमन पैसे कमाने की धुन में लगा रहा और एक साल पूरा होते ही वो जिमी जैसी बड़ी गाड़ी खरीदने में कामयाब हो गया |
जैसे ही गाड़ी खरीद कर अमन घर आया तब उसने देखा जिमी एक बहोत ही शानदार और बड़ी सी नयी गाड़ी लेकर घर आया है |
ये देखकर अमन हैरान रह गया | वो सोचा जितनी भी मेहनत करले वो जिमी की बराबरी नहीं कर पा रहा है |
इस दौरान वो अपना सेहत खराफ कर बैठा है, अपने परिवार में तनाव ला चूका है | न उसने खुद को समय दिया है नाही अपने परिवार को समय दिया है | सिर्फ और सिर्फ पैसों के पीछे भाग रहा है |
पहले वो कितना सुखी था, पर अब वो सिर्फ दुख और जलन से ग्रस्त है | उसे अपनी गलती का एहसास हुआ और वो जिमी से माफ़ी मांगने चला गया |
जिमी के पास जाकर अमन बोला: जिमी तुम बहोत भाग्यशाली हो | तुम्हारे पास बहोत दौलत है और इससे तुम अपनी हर मनचाही चीज खरीद सकते हो | मैंने खुदको अनजाने में तुमसे तुलना कर बैठा और जलन करने लगा | जिसकी वजह से मेरे जीवन में अशांति और दुःख ने डेरा दाल दिया है | में सोचता था कास में तुम्हारी तरह जिंदगी जी पाता |
ये सुनकर जिमी बोला: हाँ में बहोत भाग्यशाली हूँ, मेरे पास बहोत दौलत है | में कोई भी चीज आसानी से खरीद सकता हूँ | पर मुझे एक जानलेवा बिमारी हो गयी है | जिसकी वजह से में सिर्फ एक साल तक जी सकता हूँ |
ये सुनकर अमन को बहोत अफ़सोस हुआ और वो घर लौट आया | अनजाने में उसने अपने आपको जिमी जैसी ज़िन्दगी जीने की इच्छा कर ली थी | पर वो कितना गलत था | वो तो किस्मत वाला था की उसे एक लम्बी उम्र और अच्छी सेहत मिली है |
अमन ने अपनी सारी भूल सुधार ली और हर छोटी बड़ी ख़ुशी के लिए इश्वर का धन्यबाद करने लगा और ख़ुशी ख़ुशी रहने लगा |
Lesson from this Story आपने क्या सिखा?
इस कहानी से हमे क्या सिख मिलती है?
यही की हमे अपने आपको कभी भी किसी से तुलना नहीं करनी चाहिए |
हर किसी की अपनी परेशानी होती है | कोई नहीं जानता किसका सफ़र कहाँ अंत होगा |
तुलना करना ही है तो खुदको खुदसे करो | खुदको कल से बेहतर बनाने में करो | किसी और से तुलना करनी है तो उससे प्रेरणा लो और उनकी अच्छी आदतों को अपनाओ |
हर इन्सान में कुछ न कुछ विशेषताएं होती ही है | इश्वर ने सबको काबिल और unique बनाया है | अपने उस गुण को पहचानो और उसे निखारो |
दुसरे से खुदको तुलना करके हम अपना और अपने इश्वर का अपमान करतें हैं | और अपनी आस पास negativity फैलातें हैं जो सिर्फ जलन, गुस्सा और घृणा को पैदा करता है |
इससे ना आपका भला होगा ना दूसरों का | इसीलिए अपनाना है तो: अच्छी आदतों को अपनाएं और पूरा ध्यान खुदको बेहतर बनाने में लगायें जिससे आप बहोत सफल हो पायेंगे |
आशा है आपको ये छोटी सी कहानी अच्छी लगी होगी |
आप सभी को आपके सुनहरे जीवन और भविष्यके लिए ढेर सारी शुभकामनाएं | All The Best !